हैलो दोस्तों कैसे हो आप! उम्मीद करती हूं आप सब अच्छे और स्वस्थ होंगे।
दोस्तों मैं आपकी दोस्त पुष्पा डाबोदिया thebetterlives.com में आपका स्वागत करती हूं।
दोस्तों मैं आपके लिए लेकर आती हूं नई और इंटरेस्टिंग जानकारी जो आपके लिए है बेहद जरूरी।
ऐसी ही महत्वपूर्ण और इंटरेस्टिंग जानकारी लेकर आज मैं फिर हाजिर हूं। दोस्तों हमारा आज का टॉपिक है।
इंसान का दुनिया में आने का तात्पर्य क्या है?
जी हां दोस्तों यही है हमारा आज का टॉपिक और इस विषय पर आज हम गहराई से बात करेंगे।
हमें यह शरीर क्यों मिला है हर इंसान को इसके बारे में जानना बहुत जरूरी है।
हमें मनुष्य शरीर इसलिए मिला है क्योंकि हम इस मनुष्य देह में प्रभु की भक्ति कर सकते हैं और प्रभु की भक्ति करके हम मुक्ति को पा सकते हैं इसलिए हमें यह इंसानी शरीर मिला है।
दोस्तों आप सोच कर देखिए अगर हमें कोई और शरीर मिलता तो क्या हम भगवान की भक्ति कर सकते थे? और बिना भक्ति के क्या हम मुक्ति पा सकते हैं? नहीं ना
क्योंकि बिना मनुष्य शरीर के हम गीता नहीं पढ़ सकते भागवत नहीं पढ़ सकते, मंदिर नहीं जा सकते, भगवान को भोग नहीं लगा सकते, भगवान को प्रणाम नहीं कर सकते और भगवान की आरती नहीं कर सकते।
यह सारे काम हम और किसी शरीर में नहीं कर सकते इसलिए भगवान ने हम पर कृपा करके हमें यह मनुष्य शरीर दिया है।
मनुष्य जीवन का एकमात्र उद्देश्य यही है कि हम भगवान की भक्ति करके मुक्ति को प्राप्त कर सके और बार-बार जन्म मरण के आवागमन से पीछा छुड़ा सके इसलिए ही भगवान ने हमें यह मनुष्य जीवन दिया है। यही मनुष्य जीवन का लक्ष्य है और यही मनुष्य जीवन उद्देश्य है।
इसके अलावा मनुष्य जीवन में हम जो भी काम करते हैं वह सब काम जानवर भी करते हैं जैसे कि:-
मनुष्य भोजन करता है जानवर भी करते हैं हम अन्न जल ग्रहण करते हैं आम संतरे केले सेब आदि खाते हैं तो जानवर भी हरे चारे में अलग-अलग प्रकार का चारा खाते हैं।
हम आराम करते हैं जानवर भी आराम करते हैं हम बच्चे पैदा करते हैं जानवर भी बच्चे पैदा करते हैं। उनको भी नींद आती है हमें भी नींद आती है।
उनके पास दुश्मन से बचने के लिए नाखून दांत होते हैं वहीं हम दुश्मन से बचने के लिए अपने पास अस्त्र-शस्त्र रखते हैं।
आप जानते होंगे कि मनुष्य जीवन का अर्थ पशुओं से कहीं ज्यादा बढ़कर है क्योंकि इसको भगवान ने बुद्धि दी है इतना ज्ञान दिया है। इसलिए कहते हैं कि यह ज्ञान बुद्धि दिया किस लिए है? भगवान की सेवा में लगाने के लिए।
क्योंकि इंसान के शरीर में ही भगवान की पूजा सेवा भक्ति कर सकते हैं बाकी अन्य शरीर में हम भगवान की पूजा सेवा नहीं कर सकते इसलिए मनुष्य जीवन का उद्देश्य यही है कि हम भगवान की आराधना करें और अपनी मुक्ति के मार्ग खोलें।
इसलिए इंसान को यह समझ लेना चाहिए कि मनुष्य जीवन सिर्फ भगवान की सेवा और अपनी मुक्ति के लिए मिला है।
इंसान अपने जीवन को बाकी कर्मों में लगा देता है जिसकी वजह से उसको बार-बार जन्म लेना पड़ता है।
हमें जन्म मरण के आवागमन से सिर्फ भगवान की भक्ति और सच्चे रास्ते पर चलकर जो हम कर्म करते हैं वही हमारे कर्म हमें बार-बार आवागमन के चक्कर से मुक्त कर सकते हैं। यही मनुष्य जीवन का एकमात्र उद्देश्य है।
हमारे मनुष्य जीवन में मरने से पहले हमारी अगर कोई इच्छा अधूरी रह जाती है वैसे तो इंसान की इच्छाएं कभी पूरी नहीं होती हैउसके लिए हमें फिर से जन्म लेना पड़ता है और ऐसे ही हम अपनी इच्छाएं पूरी करते करते फिर मर जाते हैं फिर से जन्म लेते हैं ऐसे ही हम जन्म मरण के चक्रव्यू में फंसे रहते हैं।
और हमारा जो लक्ष्य है इंसान का शरीर हमें जिस उद्देश्य के लिए मिला है उसको हम भूल जाते हैं। और हम अपनी भोतिक इच्छा पूर्ति के लिए अपना पूरा जीवन लगा देते हैं।
और फिर से हमें नया जन्म मिलता है क्या पता नरक में मिलता है क्या पता स्वर्ग में मिलता है। ऐसे ही हम घूमते रहते हैं कभी नरक कभी स्वर्ग लेकिन हमें मुक्ति नहीं मिलती तो की मुक्ति का एकमात्र मार्ग है भक्ति करना भगवान की भक्ति करके हम मुक्ति को प्राप्त कर सकते हैं यही मनुष्य जीवन का उद्देश्य है।
लेकिन एक ही ऐसा जगत है जिसमें जाने के बाद मनुष्य को कभी वापस नहीं आना पड़ता।
और उस जगह का नाम है गोलोक वृंदावन।
बोलो वृंदावन में जाने के बाद इंसान कभी वापस नहीं आता।
गोलोक की प्राप्ति के लिए ही भगवान ने हमें इंसान के रूप में जन्म दिया है। इंसान को हमेशा याद रखना चाहिए कि हमारा रियेल प्लेटफार्म क्या है? हमारा रियल प्लेटफार्म है गोलोक वृंदावन धाम।
और इसी को प्राप्त करना मनुष्य जीवन का एकमात्र उद्देश्य है। भगवान श्री कृष्ण ने श्रीमद्भागवत गीता में कहा है कि
मेरे धाम में सूर्य चंद्रमा का प्रकाश भी कम पड़ जाता है इतना ज्यादा मेरे शरीर से दिव्य प्रकाश निकलता है जिससे सारा जगत प्रकाशमयं आलोकित हो जाता है।
और वही मनुष्य का रियल प्लेटफार्म है उसी को प्राप्त करने के लिए भगवान ने मनुष्य को यह मनुष्य जीवन दिया है जिसका एकमात्र उद्देश्य है प्रभु की भक्ति करके अपने आपको जीवन मरण से मुक्त करना। प्रभु के धाम को प्राप्त करना।
दोस्तों उम्मीद करती हूं आज की जानकारी आपको बेहद इंटरेस्टिंग लगी होगी। धन्यवाद
दोस्तों आज के लेख में बस इतना ही।
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मैं लेकर आती हूं आपके लिए अच्छी-अच्छी जानकारी जो आपके लिए बहुत ही महत्वपूर्ण है।
तो मिलते हैं ऐसी ही एक और नई जानकारी के साथ तब तक के लिए अपना और अपने परिवार का ख्याल रखें अपने चारों तरफ सफाई का विशेष ध्यान रखें।
दोस्तों आजकल मच्छर बहुत ज्यादा हो गए हैं। और डेंगू बुखार बहुत तेजी से फैल रहा है। इसलिए अपने बच्चों को बचा कर रखें।
धन्यवाद।
आपकी दोस्त पुष्पा डाबोदिया।
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